HINDI KAVITA. KILLER ANISH
मौत की खामोशी कितनी भयानक होती है
हर तरफ मातम का साया होता है
और होती है हर तरफ एक अजीब सी बू
इन हवाओं में , मरने वालो की
चिता से उठने वाली लपटें
और उससे निकलने वाले धुएँ
ऐसा लगता है जैसे सबको लील जायेंगे
पर , वो खुद मृत्यु को प्राप्त हो जाते हैं
और ऐसे ही सृस्टि के प्रत्येक जीवित या मृत प्राणी का
प्रत्येक छण मृत्यु की तरफ बढ़ता है
सृस्टि किसी को नहीं छोड़ती
देवता तक का अस्तितव मिटा देती है
तो फिर इंसान की क्या औकात
और पुन ः , इस खामोश सृस्टि में
मौत की खमोशी कितनी भयानक होती है।
SAYAR/POET :- ANISH RAJ.
शायर / कवि :- अनीष राज .
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